आज हम जिस फिल्म का रिव्यू कर रहे हैं, उसका नाम “सेल्फी” है, जो एक तमिल थ्रिलर मूवी है। इस फिल्म का नाम सुनते ही शायद आपके दिमाग में अक्षय कुमार की फिल्म ‘सेल्फी’ का ख्याल आ सकता है, लेकिन यह फिल्म उस बॉलीवुड मूवी से बिल्कुल अलग है। यह फिल्म यूट्यूब पर उपलब्ध है और इसे करीब 52 मिनट तक देखा जा सकता है। इस फिल्म में मुख्य भूमिका में गौतम मना हैं, जिन्होंने नेगेटिव किरदार निभाया है और अपने अभिनय से दर्शकों को प्रभावित किया है।
Selfie Movie Hindi Dubbed Story in Hindi
फिल्म की कहानी एक ऐसे रैकेट पर आधारित है, जिसमें विभिन्न कॉलेज छात्रों से पैसे लेकर उन्हें सीट दी जाती है। यह कहानी दिखाती है कि कैसे यह पूरा सिस्टम चलता है और इसके पीछे किस तरह की साजिशें रची जाती हैं। फिल्म में यह बताया गया है कि किस तरह कॉलेजेस छात्रों से सीट के लिए पैसे लेते हैं और इसे एक घोटाले के रूप में संचालित किया जाता है।
फिल्म का प्लॉट अच्छा है और विषय भी समसामयिक है, लेकिन इस पर जिस तरह से काम किया गया है, वह कहीं न कहीं उथला महसूस होता है। फिल्म में कुछ एक्शन सीन डाले गए हैं, जो शायद दर्शकों को आकर्षित करने के लिए जोड़े गए हैं, लेकिन ये सीन कहानी में कोई विशेष गहराई नहीं लाते।
- कांसेप्ट और विचारधारा: फिल्म का कॉन्सेप्ट काफी अच्छा है और यह हमारे समाज में हो रही एक बड़ी समस्या को उजागर करता है। कई कॉलेजेस में इस तरह के घोटाले होते हैं, जो छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करते हैं। यह फिल्म इस मुद्दे को लेकर थोड़ी बहुत जागरूकता पैदा करती है, जो इसकी खासियत है।
- अभिनय: फिल्म में सभी कलाकारों ने अच्छा प्रदर्शन किया है, विशेष रूप से गौतम मना ने अपने नेगेटिव किरदार में जान डाल दी है। उनके अभिनय की जितनी तारीफ की जाए, वह कम है। उनका किरदार आपको बांधे रखता है और उनका नेगेटिव किरदार फिल्म की मजबूती है।
- बीजीएम: बैकग्राउंड म्यूजिक फिल्म में काफी अच्छा है। यह मूवी के सस्पेंस और थ्रिल को बढ़ाने का काम करता है और दर्शकों को कहानी में बनाए रखता है।
- गहराई की कमी: फिल्म में जिस तरह से मुद्दे को पेश किया गया है, वह काफी उथला है। इसमें गहराई की कमी है, जो दर्शकों को पूरी तरह से कहानी में डूबने नहीं देती। कहानी को और अधिक विस्तृत रूप से दिखाया जा सकता था, लेकिन इसे जल्दबाजी में खत्म कर दिया गया है।
- क्लाइमेक्स: क्लाइमेक्स की सबसे बड़ी कमी यह है कि इसे बहुत तेजी से निपटा दिया गया है। दर्शक उम्मीद करते हैं कि अंत तक कहानी में कुछ नया मोड़ आएगा, लेकिन ऐसा नहीं होता। क्लाइमेक्स में एक तरह की निराशा हाथ लगती है और यह फिल्म के सबसे कमजोर हिस्सों में से एक है।
- हिंदी डबिंग और एडिटिंग: हिंदी डबिंग भी उतनी प्रभावशाली नहीं है, जितनी होनी चाहिए थी। फिल्म के कुछ सीन्स को कट कर दिया गया है, जो कि बहुत ही स्पष्ट रूप से नजर आता है। गाने काटे गए हैं और साउंड मिक्सिंग भी कमजोर है। कई जगहों पर सीन की आवाजें सटीक नहीं बैठती, जिससे फिल्म की गुणवत्ता प्रभावित होती है। एडवाइज मीडिया ने साउंड मिक्सिंग में कुछ गलतियां की हैं, जो साफ तौर पर नजर आती हैं।
क्या है फिल्म का नाम “सेल्फी”?
फिल्म के नाम “सेल्फी” का रहस्य आपको आखिरी में पता चलता है। पूरी फिल्म के दौरान यह सवाल मन में बना रहता है कि इस फिल्म का नाम ‘सेल्फी’ क्यों रखा गया है, लेकिन क्लाइमेक्स में इसका जवाब मिलता है। नाम फिल्म की कहानी से जुड़ा हुआ है और इसे सही तरीके से जस्टिफाई भी किया गया है।
निष्कर्ष
अंत में, यह फिल्म एक बार देखने लायक है, लेकिन इसे मास्टरपीस कहना सही नहीं होगा। इसका कॉन्सेप्ट और प्लॉट अच्छा है, लेकिन इसे और बेहतर तरीके से प्रस्तुत किया जा सकता था। फिल्म के कुछ हिस्सों में गहराई की कमी और क्लाइमेक्स में जल्दबाजी ने इसे थोड़ा कमजोर बना दिया है। अगर फिल्म का ट्रीटमेंट और बेहतर होता, तो यह फिल्म एक बेहतरीन थ्रिलर हो सकती थी।
फिर भी, कुछ थ्रिलिंग मोमेंट्स और गौतम मना के शानदार प्रदर्शन के चलते यह फिल्म देखने लायक है। अगर आप कॉलेजेस में हो रहे घोटालों से जुड़ी कहानियों में रुचि रखते हैं, तो यह फिल्म आपको कुछ हद तक जरूर पसंद आएगी।
Selfie Movie Hindi Dubbed Rating
मैं इस फिल्म को 6/10 अंक दूंगा। इसका कॉन्सेप्ट और कुछ थ्रिलिंग सीन्स इसे देखने योग्य बनाते हैं, लेकिन इसमें वो गहराई और पकड़ नहीं है, जो इसे एक उत्कृष्ट फिल्म बना सके।
आशा करता हूं कि आपको यह समीक्षा पसंद आई होगी। अगर आपने यह मूवी देखी है, तो कमेंट में अपने विचार जरूर साझा करें।